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Gaza War Over: हमास ने छोड़े सभी बंधक, ट्रंप बोले- ‘नोबेल के लिए नहीं किया, भारत पर लगाऊंगा टैरिफ’

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Gaza War Over

इजराइल। Gaza War Over: बीते दो साल से अधिक समय से युद्ध की आग के जल रहे इजराइल और फिलिस्तीन में अब शांति आने वाली है क्योंकि शांति समझौते के तहत हमास ने सोमवार 13 अक्टूबर को सभी इजराइली कैदियों को रेडक्रास को सौंप दिया। इसके बदले में इजराइल ने भी 1900 से अधिक फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा किया। इस बीच अमेरिकी राष्ट्रपति भी इजराइल पहुंच गये। वे वहां इजराइली संसद में भाषण देने वाले हैं। ट्रंप यहां से मिस्र जाएंगे, जहां वे गाजा शांति शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे। ट्रंप को इजराइल में सर्वोच्च नागरिक सम्मान से सम्मानित किया जायेगा।

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दो साल बाद स्वदेश लौटे बंधक

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रिपोर्ट के मुताबिक इजराइली बंधकों को दो चरणों में रिहा किया गया। पहले चरण में सुबह के समय सात बंधक रिहा हुए और दूसरे चरण में 13 बंधकों को हमास ने रेड क्रास को सौंपा। ये बंधक पूरे दो साल बाद अपने वतन वापस लौटेंगे। इजराइल-हमास युद्ध को खत्म कराने में सबसे अहम भूमिका निभाने वाले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा, मैंने ये सब, नोबेल के लिए नहीं किया है। इसके साथ ट्रंप ने इसे अपनी आठवीं  उपलब्धि बताई।

उन्होंने कहा, ये उनके द्वारा हल किया गया आठवां संघर्ष है। इसके साथ ही उन्होंने भारत-पाकिस्तान के बीच संभावित युद्ध को लेकर टैरिफ की धमकी भी दोहराई। ट्रंप ने कहा- अगर भारत और पाकिस्तान ने युद्ध की तरफ कदम बढ़ाया तो, मैं इन पर टैरिफ लगाऊंगा।” उनके इस बयान से क्षेत्रीय तनाव उत्पन्न हो गया है।

ट्रंप ने जताई ख़ुशी

TRUMP NETANYAHU

गाजा में युद्ध समाप्त होने पर ख़ुशी जताते हुए ट्रंप ने कहा ये विशेष क्षण है, इस पर सब खुश हैं, चाहे वे यहूदी हो, मुस्लिम हो या फिर अरब देश के लोग। अमेरिकी राष्ट्रपति ने भरोसा जताया कि ये युद्ध विराम स्थायी होगा, क्योंकि दोनों ही देश युद्ध लड़ते-लड़ते थक चुके हैं। इस समझौते का जश्न मनाने के लिए ट्रंप इजराइल और मिस्र की दो दिवसीय यात्रा पर हैं। मध्य पूर्व एशिया में स्थायी शांति और स्थिरता लाने के उद्देश्य से मिस्र में शर्म अल-शेख शिखर सम्मेलन का आयोजन किया गया है, जिसकी अध्यक्षता डोनाल्ड ट्रंप करेंगे।

विशेषज्ञ बोले- युद्धविराम अनिश्चित है

इस सम्मेलन में 20 से अधिक देशों के राष्ट्राध्यक्ष शामिल होंगे। हालांकि, इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू इस सम्मेलन में शिरकत करेंगे या नहीं इसकी पुष्टि नहीं की गई है। वहीं हमास ने साफ़ कर दिया है कि वह इसमें सम्मेलन में शामिल नही होगा, क्योंकि वह कतर और मिस्र के मध्यस्थों के माध्यम से शांति वार्ता में भाग लिया ले चुका है। उम्मीद जताई जा रही है कि इजराइल-हमास युद्ध के खात्मे और ट्रंप के इस दौरे से मध्य पूर्व में शांति और स्थिरता आएंगी, लेकिन विशेषज्ञों की राय इसके ठीक विपरीत है। उनका कहना है कि, युद्धविराम लंबे समय तक चलेगा, ये कहना मुश्किल है।

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IDF का ऑपरेशन रिटर्निंग होम’

उल्लेखनीय है कि, अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप लंबे समय से हमास और इजराइल के बीच युद्धविराम कराने की कोशिश कर रहे थे, जिसमें पिछले हफ्ते ही उन्हें सफलता मिली। इस युद्धविराम के समझौते के बाद से ही दोनों देश बंधक और कैदियों के अदला बदली की तैयारी में जुट गये थे। इजराइली सेना ने ‘ऑपरेशन रिटर्निंग होम’ शुरू किया, जिसका लक्ष्य हमास द्वारा बंधक बनाए गए लोगों को वापस लाना है।

इजराइल ने प्रकाशित की थी लिस्ट

 

सूत्रों के हवाले से बताया गया थे कि, हमास तीन समूहों में इजराइली बंधकों को रेड क्रास को सौपेंगा, जिसमें पहला और दूसरा समूह साढ़े 10 बजे और तीसरा समूह इसके एक घंटे बाद, लेकिन बाद में उसने दो चरणों  में बंधकों को रिहा किया। इस बारे में एक इजराइली सैन्य अधिकारी ने बताया कि, सभी मृत बंधकों की रिहाई आज सोमवार को संभव नही हो सकती। रिहाई से पहले इजराइल में 2023 में हिरासत में लिए गये 250 फिलिस्तीन कैदियों और 1700 गाजा निवासियों की सूची प्रकाशित की थी, जिन्हें इस समझौते के तहत रिहा किया जाना था।

हमास ने शुरू किया था युद्ध

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बता दें कि, इस युद्ध की शुरुआत दो साल पहले यानी 7 अक्टूबर 2023 को हमास ने की थी। हमास के लड़कों ने सात अक्टूबर को तड़के इजराइल पर हमला बोला और हजारों यहूदियों की निर्ममता से हत्या कर दी, जिसमें कई नवजात भी शामिल थे। इसके साथ है सैकड़ों  इजराइलियों को बंधक बनाकर गाजा लेकर आ गये थे।

इस हमले का बदला लेने के लिए इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू में नेतृत्व में आईडीएफ ने जबर्दस्त सैन्य अभियान चलाया और पूरे गाजा पट्टी को मलबे में तब्दील कर दिया। साथ ही हमास और उसका साथ देने वाले आतंकी संगठनों की भी कमर तोड़ दी।  इस युद्ध में गाजापट्टी के 66,000 से अधिक लोग मारे गये जबकि लाखों लोग विस्थापन का जीवन जी रहे हैं।

इजराइल ने हटाई सेना

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अमेरिका की सत्ता संभालने के बाद से युद्ध समाप्त कराने का प्रयास कर रहे ट्रंप ने 20 सूत्रीय शांति योजना पेश की थी, जिसके कुछ  बिन्दुओं पर हमास-इजराइल सहमत थे, लेकिन कुछ पर नहीं। जैसे कि युद्ध समाप्ति, इसराइल की वापसी, बंधकों और कैदियों की रिहाई, सहायता और पुनर्वास प्रयास और फिलिस्तीनियों को उनके क्षेत्र से निष्कासित करने का विरोध शामिल है। पिछले सप्ताह ही इसराइल ने ट्रंप के युद्धविराम के विचार पर अपनी सहमति दी और गाजा के कुछ हिस्सों से अपनी सेना हटा ली। इजराइल के इस फैसले के बाद विस्थापित परिवार अपने-अपने घरों को लौटने लगे।

गाजा को इजराइल में लिए खतरा नहीं बनने देंगे

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युद्धविराम और बंधकों की रिहाई के बाद इजराइली सेना के चीफ ऑफ जनरल स्टाफ, लेफ्टिनेंट जनरल इयाल जामिर ने एक बयान जारी किया है, जिसमें उन्होंने कहा है कि “पिछले दो वर्षों में हमने सैन्य दबाव और कूटनीतिक उपायों के जरिये हमास पर विजय प्राप्त की है। हम गाजा पट्टी को इसराइल और यहां के लोगों के लिए खतरा नहीं बनने देंगे, इसे रोकने के लिए हम हर जरूरी कदम उठाएंगे।

 

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