



दिल्ली और आसपास के इलाके इन दिनों भीषण जहरीली हवा की चपेट में हैं। इसके चलते यहां आम लोगों के साथ ही बच्चों और अस्थमा के मरीजों (Asthma patients) को भी काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। प्रदुषण युक्त हवा की वजह से अस्थमा के मरीजों को खांसी, बेचैनी और सांस लेने में दिक्कत महसूस हो रही है। वहीं स्वस्थ्य लोगों को भी खराब वायु गुणवत्ता से श्वसन संबंधी समस्याएं भी हो सकती हैं। इस समय दिल्ली-एनसीआर की हवा बेहद खराब है। यहां कई जगहों पर एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 400 के पार पहुंच गया है। ऐसे में यहां रह रहे लोगों को अपना बचाव खुद करना होगा। आइए जानते हैं अस्थमा रोगी इस माहौल में अपना ध्यान कैसे रखें।
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इन चीजों से करें परहेज
अस्थमा रोगी इस मौसम में भीड़-भाड़ और प्रदूषित जगहों पर जाने से बचें। घर से निकलते समय मास्क का इस्तेमाल करें। समय पर खाना खाएं। किसी भी परिस्थिति में धूम्रपान वाली जगह पर न जाये। बाहर के खाने से परहेज करें, जहां तक संभव हो घर का बना ताजा खाना ही खाएं। सर्दियों की शुरुआत हो चुकी है। ऐसे में सुबह शाम के घर से बाहर जाते समय गर्म कपड़े पहनें। साफ पानी पियें। साथ ही डाइट में चुकंदर का जूस और दाल का पानी पियें।
लहसुन का सेवन है फायदेमंद
अस्थमा के मरीजों के लिए सुबह खाली पेट लहसुन का सेवन फायदेमंद हो सकता है, लेकिन लहसुन को खाने से पहले उसे छीलकर 30 सेकंड के लिए धूप में छोड़ दें। ऐसा इसलिए करना चाहिए ताकि वह ऑक्सीडाइट हो जाये। इसके बाद लहसुन को 1 चम्मच शहद के साथ खाएं। यह आपके फेफड़ों में वायुमार्ग को साफ करने में मदद करता है। दरअसल, मौसम बदलते ही कुछ लोगों में अस्थमा की परेशानी बढ़ जाती है। ऐसे लोगों को मौसमी बदलावों जैसे सितंबर-अक्टूबर, फरवरी, मार्च, जुलाई महीने में विशेष सावधानी बरतने की जरूरत होती है। ऐसे लोगों को अधिक ठंड में घर से बाहर कम से कम निकलना चाहिए।
स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, अस्थमा रोगियों को अपनी दवाएं नियमित रूप से लेनी चाहिए। रात में अस्थमा के अटैक से बचने के लिए कुछ आवश्यक कदम उठाने चाहिए। आइए जानते हैं क्या कर सकते हैं।
कमरे को हमेशा साफ़ सुथरा रखें
रात के समय अस्थमा के दौरे से बचने के लिए सबसे पहले आपको अपने कमरे को साफ रखना होगा। हर दिन झाड़ू लगाएं और धोएं। उन क्षेत्रों को भी साफ करें जिन्हें अक्सर नजरअंदाज कर दिया जाता है। जैसे पंखे के ब्लेड और अलमारियां आदि।
गद्दे पर हमेशा कवर लगा कर रखें
डस्ट-प्रूफ गद्दे और तकिए के कवर बिस्तर के अंदर धूल, मिट्टी और गंदगी को नहीं जाने देते हैं। जर्नल साइंस डेली में पब्लिश नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एनवायर्नमेंटल हेल्थ साइंसेज के एक शोध के मुताबिक गद्दे और तकिए पर कवर को लगाना बेडरूम में धूल के कण को कम करने का सबसे अच्छा और प्रभावी तरीका है।
हफ्ते में एक बार जरूर धोएं चादर और कवर
घर की साफ़-सफ़ाई के साथ ही बिस्तर की भी सफाई आवश्यक है। अस्थमा के दौरे से बचने के लिए हर हफ्ते अपना बिस्तर धोने की आदत बनाएं। भले ही आपको अस्थमा न हो फिर भी अपनी चादरें और तकिये के कवर हर हफ्ते धोएं। इन्हें धोते समय ठंडे की बजाय गर्म पानी का प्रयोग करें तो बेहतर होगा।
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