



प्रयागराज। Mahakumbh 2025, 5th Shahi Snan: उत्तर प्रदेश की सबसे पवित्र धर्म स्थली में शुमार प्रयागराज में अगले वर्ष धार्मिक पर्व महाकुंभ का आयोजन होने वाला है। इसकी तैयारियां इस समय जोरों पर चल रही हैं। यह महाकुंभ 13 जनवरी से शुरू होगा। महाकुंभ में आने वाले शाही स्नानों का बहुत महत्व होता है। इस महाकुंभ में कुल 6 शाही स्नान होंगे। शाही स्नान 13 जनवरी को पौष पूर्णिमा से शुरू होता है और महाशिवरात्री के साथ समाप्त होता है। इन छह शाही स्नानों में से एक माघी या माघ पूर्णिमा का स्नान होता है। आइए जानते हैं ये शाही स्नान किस डेट को होगा और इसका शुभ मुहूर्त क्या है। साथ ही ये भी जानते हैं कि हिंदू धर्म में माघ पूर्णिमा का क्या महत्व है।
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शुभ होता है माघी पूर्णिमा का स्नान
माघ में पड़ने वाली पूर्णिमा को माघी पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है। महाकुंभ के दौरान 12 फरवरी को माघी पूर्णिमा मनाई जायेगी। इस दिन स्नान का समय ब्रह्म मुहूर्त में 5:19 बजे शुरू होगा और शाम 6:10 बजे समाप्त होगा। धार्मिक दृष्टि से माघी पूर्णिमा का स्नान सामान्य दिनों से ज्यादा महत्वपूर्ण माना जाता है।
माघी पूर्णिमा का महत्व
हिंदू मान्यता के अनुसार माघी पूर्णिमा पर मानव का रूप धारण करके के देवता धरती पर आते हैं। इस दिन वे त्रिवेणी संगम पर स्नान, दान और ध्यान करते हैं। ऐसा माना जाता है कि जो लोग इस दिन त्रिवेणी संगम में स्नान करते हैं उनको मोक्ष प्राप्त होता है। इसके अलावा, इस दिन पूजा पाठ करने से मन वांछित फल की प्राप्ति होती है। हिन्दू मान्यता के अनुसार पौष पूर्णिमा पर शुरू होने वाला कल्पवास माघी पूर्णिमा के दिन ही खत्म होता है।
भगवान विष्णु का मिलता है आशीर्वाद
हिंदू धर्म शास्त्रों के अनुसार, जो व्यक्ति माघ पूर्णिमा के दिन स्नान करता है उसे जगत के पालनहार श्री हरि विष्णु का आशीर्वाद प्राप्त होता है। मान्यता है कि इस दिन स्नान करने वालों को भगवान विष्णु मोक्ष प्रदान करते हैं। इस दिन पितरों का श्राद्ध करने का भी विधान है। माघ पूर्णिमा के उपलक्ष्य में दान भी किया जाता है। इस दिन गरीबों को भोजन अवश्य बांटना चाहिए। इस शुभ फल की प्राप्ति होती है।
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